सन्नाटा ( Silence)

Sannata

नमन मंच
शीर्षक
सन्नाटा
ज़िंदगी के काल चक्र में क्या हम उनसे मिले जिनको हम खुशी दे सकते थे
क्या हम उन्हे पहचाने जिनसे जिंदगी हमारी जुड़ सकती थी
क्या हम एक पल की खामोशी सह सकते है?
क्या हमें सन्नाटा मंजूर है?

क्या हम चुप्पी सह सकते है?
क्या हम चुप्पी की सादगी को समझ सकते है?
क्या हम सादगी में धन परख सकते हैं?
क्या हम सन्नाटा समझ सकते है?

क्या हम एक पल में हज़ार जज़्बाद जी सकते है?
क्या हम खुदगर्ज़ी उस पल मे छोड़ सकते हैं?
क्या हम पराये को अपना बना सकते है?
क्या हम सन्नाटा सह सकते है?

सन्नाटा एक तजुर्बा है
नही है वह बेमतलब
उसमे जिंदगी है पनपती
है वो हमेशा बेसबब
जी लो एक पल सन्नाटे में
और मिलेगा अपने अंदर रब
और मिलेगा अपने अंदर रब

स्वचरित
रूकमिनी

Zindagi Ek Naye Andaaz se
Zindagi Ek Naye Andaaz se
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Zara Is Maa Ke Baarey Mein Bhi Toh Socho

मेहनत करते हैं वह अपनी ममता बनकर रखते हैं
दर्द मिटाते हैं वह अपना ज़ख्म भरकर रखते हैं
लाख कोशिश हम करें हम नहीं बन सकते हैं उनके जैसा
रास्ते पर यह हैं ज़रा इनका भी कुछ सोचो

धुप हो या चाओं रास्ते की मंज़िल ढूंढते हैं
हर लम्हा जो गुज़रा इशारा ढूंढते रहते हैं
हर वह तकलीफ को झेलकर आगे बढ़ती हैं यह
रास्ते पर हैं ज़रा इनका भी कुछ सोचो

कभी सिग्नल पर दिखते हैं हमें पता ही नहीं रहता
वह उनका बच्चा है या पराया
पर फितरत उनकी देखते रह जातें हैं हम
ज़रा उनका भी कुछ सोचो रास्ते पर हैं जो

आज मथरस डे मनाया जा रहा है
एक वजह ढूंढ रही हूँ मैं उन्हे न याद करने की
काश ज़िन्दगी इतना आसान होता
की होनी को भी अनहोनी कर सकती थी

फिर से वही ज़ख्म वही दर्द दिख रहे हैं मुझे
रास्तें के इन मुसाफिरों के बारे में ज़रा कुछ तो सोचो।

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Phir Ek Tohfa Tumhey Amma

happy bday amma

happy bday amma

वो बचपन के दिन जब मम्मी बुलाया करती थी
वो सहमे सहमे पल जब अपनी गलतियां पकड़ा करती थी
वो बीते हुए पल जब हम मिठाई चुराया करते थे
हाँ वही सब पल आज मैं देना चाहती हूँ तुम्हे माँ

वो अचानक तुम्हारा गरजना और गरजकर मुस्कुराना
वो खामोश रहकर अपनी बात मनवा लेना
वह बीती हुई यादें जब आज आया करती है
हाँ वही सब पल आज में देना चाहती हूँ माँ

वो सुनहरी शाम जब मैंने कहा की मैं माँ बननेवाली हूँ
वो ख़ुशी वो जज़्बा जो तुमने किये थे गुफ्तगू
वो मायका जानेकी ख़ुशी मैं फिर से चाहती हूँ
हाँ वही सब पल आज मैं देना चाहती तुम्हे माँ

आज तुम्हारी जन्मदिन है मैं यही तोहफा दे रही हूँ
फिर वही आशाएं वही ख़ुशी ज़िन्दगी के माला पिरो रही हूँ
वही आज मेरी पूँजी है जो मैं तुम्हे दे सकती हूँ
हाँ आज मैं तुम्हे जन्मदिन मुबारक देना चाहती हूँ माँ

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Zindagi Ek Nagma Hai

Zindagi Ek Nagma Hai

Zindagi Ek Nagma Hai

अकेले आये हैं अकेले जाना है , ज़िन्दगी को एक नगमा बनाना है
दुनिया से क्या डरना जब आगे हम, और पीछे ज़माना है
कुछ आप कहो, कुछ तकदीर करे
यूँ न खुद  पूछो , हर सवाल के साथ एक अफ़साना है

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Zindagi Kuch Naye Andaaz Se

Zindagi Ek Naye Andaaz se

Zindagi Ek Naye Andaaz se

आज कुछ नया करना है ज़िन्दगी को अपने जज़बादों से भरना है !!
कुछ बीतें पलों को जीना है कुछ आने वाले पल को सीना है।

आज कुछ नया करना है हर वह जंग को फिर से लड़ना है !!
कुछ  झुकी पलकों को फिर से उठाना है कुछ खुदगर्ज़ी को भी मिटाना है।

आज कुछ नया करना है हर वह छोटी सी आशा से आहें भरना है !!
कुछ नरमी से कुछ सकती से ज़िन्दगी को एक नया रुख देना है।

आज कुछ नया करना है हर वह  गलती को नज़र अंदाज़ करना है !!
कुछ पुरानी दुश्मनी  भूल और कुछ नए रिश्तों को जोड़ना है।

आज कुछ नया करना है , हर वह गिले शिकवों को दफ़नाना है !!
कुछ आगे की सोचकर , कुछ पुराने ग़मों को भूलना है।

आज कुछ नया करना है हर वह अनकही बात को  कहना है ,
चार दिन ज़िन्दगी है इसमे किसी से बैर तोह नहीं करना है ,
कुछ  अपनों से और कुछ परायों से फिर से नाता जोड़ना है ,
ज़िन्दगी एक बहती गंगा है इसमे बहते चले जाना है , कुछ नया ज़रूर करना है!!

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Suroor Pyar Ka

Suroor Pyar Ka

Suroor Pyar Ka

नहीं मुझे और नहीं चाहिए लोगों का प्यार
जब जब मिला है साथ में है इंकार
जब जब खिला है साथ है तकरार
दो लफ़्ज़ों के बीच एक फासला जब आ ही गया है
नहीं मुझे नहीं चाहिए लोगों का प्यार

अपने आप को भूलकर हम करते हैं प्यार
खुद से ज्यादा लोगों को करते है प्यार
जब कदर नहीं जज़बादों का तो क्यों करें इज़हार
नहीं मुझे और नहीं चाहिए लोगों का प्यार

ले देकर बनता है एक रिश्ता प्यारा सा
समेट कर रखते हैं एक एहसास न्यारा सा
जब खुद को चुरा कर दुनिया से छुपना पड़ता है
नहीं मुझे नहीं चाहिए लोगों का प्यार

आज फिर वह घडी आ गयी है की देखें क्या सही है क्या गलत
आज फिर वह समां आ गया है की परखें दुनिया में मोहब्बत
क्यों न हम चले इस चौराहे से बहुत दूर
एक नया जहां जहां हम न हो कभी मजबूर ….
कहीं ऐसे जगह जहां प्यार की कीमत् हो
कहीं ऐसे जगह जहां रहे सिर्फ आप का सुरूर.

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Aaj Kuch Alag Karna Hai

आज कुछ अलग करना है फिर से अपना बचपन जीना है
फिर से वही शरारतें ,  फिर से वही  सारे बातें
हर वह  छोटे पल का एहसास
आज फिर से वही सारे पलों को समेटना है

Ab Khud Kuch Karna Paray Ga

Ab Khud Kuch Karna Paray Ga (Photo credit: Wikipedia)

आज कुछ अलग करना है , फिर से बीती बातों को दोहराना है
फिर से वही बारिश में भीगना और मिटटी के प्याले में चाय पीना
तपती  धुप में खट्टे कैरी खाने का एहसास
आज फिर से वही मीठे पलों को  सम्भालना है

आज कुछ अलग करना है ,  फिर से कुछ शिकायतें करनी है
फिर से वही भाई  बेहेन का झगड़ा , फिर से मम्मी से  डांट खाना है
छुट्टियों के मौसम का वह एहसास
आज फिर से वही रिश्तों का डोर सींचना है

आज कुछ अलग करना है अपने ज़मीर से जुड़ना है
फिर से वही कही अनकही बातों को  कहना है
कशिश का वह एक अंजना एहसास
आज फिर से अपने आप से मिलना है

चार राहों में चल चुकी हूँ अब और नहीं चलना है
चार बातें सुन चुकी हूँ अब और नहीं सुनना है
चार आंसूं गिर चुके हैं और नहीं अब रोना है
सिर्फ ज़िन्दगी को और करीब से और शौक से  परखना है
आज कुछ अलग करना है आज फिर ज़िन्दगी सही तरह से जीना है
हर वह गलती जो हुई उसे अब मिटाना है
हर वह शिकवे को एक जवाब देना है
हर वह टूटे  प्यार को फिर से मोहब्बत्त बनाना है
हर वह कश्मकश को एक नए  रूप से देखना  है
आज फिर से कुछ अलग कर ज़िन्दगी को नया रुख देना है
आज कुछ अलग करना है अलग करना है अलग करना है

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Udaan (उड़ान )

العربية: شلالات نياقرا كندا. Azərbaycan: Niaqa...

العربية: شلالات نياقرا كندا. Azərbaycan: Niaqara Şəlaləsi. Español: Cataratas del Niágara, frontera Estados Unidos-Canadá. हिन्दी: नियाग्रा फाल्स (Niagara Falls), संयुक्त राज्य अमेरिका-कनाडा सीमा, दुनिया के ऐसे स्थानों में से एक है जहाँ लोग सबसे ज्यादा घूमने जाते हैं. (Photo credit: Wikipedia)

 

निगाहें टिकी है उस आसमान के ओर  उडने को
जहां वक्फ ए जम्हुरीयत का एहसास हो
तंग आ गए है हम भरे महफिलों में
जहां हर पल जैसे एक लम्बी सांस हो

तनहाई इंसान से जब दोस्ती करे
नादान इंसान उसकी आघोश में खो जाता है
गर एक बार हम एक साथी ढूँढें
तो जैसे  सारा जहां सूना सा हो जाता है

दुनिया हमारे लिए नहीं हम दुनिया के लिए सही
जम्हुरियत की यही नीति है
गर हम वक्फ करें इन मासूम एहसासों को
इसी में संसार की प्रगती है

जीयो और जीने दो तोड़ डालो मन के बंधनों को
गर कोई उड़ना चाहे , उड़ाने दो उसे अपने पंखों को
गर सोचना चाहे तो दे दो उसे ताकत सोचने का
आओ वक्फ करें अपने दिल की इन्ही एहसासों का

 

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Zindagi Ek Paheli

Paheli

Paheli (Photo credit: Wikipedia)

ज़िन्दगी एक तराजू सी है , जहां ख़ुशी है वहाँ  गम भी
महफ़िल एक ख्वाब सी है, पल भर की है उसमे ख़ुशी
वक़्त एक एहसास सा है, पलक झपकते निकल है
प्यार कुछ सदियों की है, इतनी आसानी से भूला नहीं जाता

दोस्त एक अरसे के लिए है, इनकी गिनती कभी नहीं हो सकती
विश्वास एक दूसरे के लिए है,  इसका जिक्र बस सहमी सी
मोहब्बत एक जनम के लिए कम पढ जाती है बहुतों को
शायरी मोहब्बत्त के मारों के लिए है, थम जाती है ज़िन्दगी इनको

कुछ ऐसी ही बातें दुनिया में रिश्तों को  रखती है
कुछ ऐसे ही पल दोस्तों को करीब रखती है
फिर क्यों एक हवा के झोंके से यह सब बिखर जाता है
इंसान क्यों अपने आपे से खो जाता है
इस बात को , समझो और आगे बढ़ो ए मेरे दिल
अज  जीने का इरादा है,  चलो इसमे हो जाएँ शामिल….

 

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Dil Ki Jannat

This is a view of the mall road in Meerut,Utta...

This is a view of the mall road in Meerut,Uttar Pradesh, India. This road runs across the Meerut cantonment and has been present since before independence. Seen here on the left is the boundary wall of Gandhi Bagh, a large public garden also present since before independence. (Photo credit: Wikipedia)

 

आजकल ज़िन्दगी कुछ अधूरी सी रह गयी है
जस्बाद कम और मजबूरी सी लग रही है
एक ज़माना था ,जब दुनिया मेरे इशारे पर नाचती थी
अब अपने में ही कमी महसूस हो रही है

आजकल एहसास कुछ अधुरा सा लगा रहा है
वोह एक हवा का झोंका जैसे हमसे कुछ कह रहा है
अपने में तल्लीन थे जो हम पहले
आज उसी का मज़ा लेना गुना हो गया है.

आजकल प्यार कुछ मेहेंगा हो गया है
पहले हर दिल में बस्ता हुआ दिखाई देता था
अब ज़िन्दगी की तेज़ रफ़्तार के साथ चलते ही
वो बीता हुआ मोहब्बत्त खोया सा लगने लगा है

कुछ हम करे और कुछ ज़माना
फिर ले आये वोही खुशियों का फ़साना
जब प्यार एक एहसास था और मोहब्बत एक फितरत
गर यह सब मिल जाए तो वहीँ है जन्नत.

 

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Baatein Dil Ki

العربية: شلالات نياقرا كندا. Azərbaycan: Niaqa...
العربية: شلالات نياقرا كندا. Azərbaycan: Niaqara Şəlaləsi. Español: Cataratas del Niágara, frontera Estados Unidos-Canadá. हिन्दी: नियाग्रा फाल्स (Niagara Falls), संयुक्त राज्य अमेरिका-कनाडा सीमा, दुनिया के ऐसे स्थानों में से एक है जहाँ लोग सबसे ज्यादा घूमने जाते हैं. (Photo credit: Wikipedia)

ज़िन्दगी एक दरिया है और हम दरिया के किनारे
दोस्ती एक जरिया है जिसकी गुण गाते है सारे
रिश्ता एक डोरी है , मज्बूत है इसके गांठ
एहसास एक पल का है, जो रहे हमारे साथ

दिल्लगी एक फितरत है, तोड़ देती है कई सीमाएं
नफरत एक बंदगी है, कुचल जाती है कई भावनाएं
मज़हब एक तरीका है ज़िन्दगी से प्यार करने का
बचपन एक पल है , बीतें हुए  हर लम्हों का

साहस एक चतुराई है, अपना आत्मा विश्वास   दिखाने का
खौफ एक पल का रहता है, गर विश्वास है दुनिया का
ख़ुशी एक  नैया है, जो पार कर जाती है जस्बाद को
                                                                                      प्यार ज़माने का है, तोड़ जाती है सीमाओं को

जब सब हमारे साथ है, इसी दुनिया के इर्द गिर्द
क्यों न हम भी हो जायें ज़िन्दगी के शागिर्द
 आज फिर बहार आने की महूरत है, दिल यूं कह रहा है
बस ज़िन्दगी का मज़ा लो, ऐसा मन हमारा कह रहा है

 

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Ik Naye Andaaz Se

The Hindu Times

The Hindu Times (Photo credit: _Teb)

 

बारिश के पानी में भीगने का मज़ा कुछ अलग है
सुनहरी यादों को दोहराने की मज़ा कुछ अलग है
यादों को ताज़ा करते हुए
इक नए अंदाज़ से  जीने की मज़ा कुछ अलग है

मिटटी की खुशबू का मज़ा लेना कुछ अलग है
आम के पेड़ से आम तोडने का मज़ा कुछ अलग है
डूबते सूरज की  खूबसूरती देखते हुए
इक नए अंदाज़ से  जीने की  मज़ा कुछ अलग है.

नंगे  पैर सुनहरे खेतों में चलने का मज़ा कुछ अलग है
गन्ने के खेत से गन्ने तोड़कर खाने का मज़ा कुछ अलग है
रात के अंधेरे में निकलते चाँद को देखते हुए
इक नए अंदाज़ से जीने की मज़ा कुछ अलग है.

ज़िन्दगी इक सहारा है अपने  अनगिनत कोशिशों की
हम बस चलते हैं इसके हर इशारे पर
मजे लेने की बात तो सिर्फ एक एहसास है लम्हों की
उसे एक नए अंदाज़ से जीने की मज़ा कुछ अलग है

 

 

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Kuch Baat Hai Bachpan Ki

Adirondack Chair

Adirondack Chair (Photo credit: frontier.1968)

कुछ बात है बचपन की, जो आज भी मैं उसे याद करती हूँ
वो छोटी छोटी तमन्नाएं  बचपन के,  आज मैं उन्हे पिरोती हूँ

कुछ बात है बचपन की , जो आज पलकें भीग जाती है
वो प्यारी प्यारी रातें जो नन्ही यादों को यूं सींच जाती हैं

कुछ बात है बचपन की, जो आज मुझे उसी से मज़ा आ रहा है
वो मीठी मीठी यादें जो ज़िन्दगी के गुलदस्ते को सजा रहा  है।

कुछ बात है बचपन की, जो हमेशा हमारे अंदर के बच्चे को जगाता है
वो सहमी सहमी रातें,  परीक्षा के पहले , आज भी मुझे दर सा लगता है

कुछ बात है बचपन की,  जब कागज़ की नाव हमारे सपने रहा करते थे
काश आज यूं कागज़ से बनती ज़िन्दगी, तो हमारी उम्मीदें सक्त ज़रूर होते थे

कुछ बात है बचपन की , कि आज मैं एक चौराहे में खड़ी हूँ
गर मुझे कोई मौका दे , तो बचपन का राह फिर से पकड़ लूं
यूं भटक कर जो हम आ गए हैं इस दुनिया के मोड़ पर
आज फिर से जीने की तमन्ना है,  उसी बचपन के राह पर …

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बस इतना चाह

العربية: شلالات نياقرا كندا. Azərbaycan: Niaqa...

العربية: شلالات نياقرا كندا. Azərbaycan: Niaqara Şəlaləsi. Español: Cataratas del Niágara, frontera Estados Unidos-Canadá. हिन्दी: नियाग्रा फाल्स (Niagara Falls), संयुक्त राज्य अमेरिका-कनाडा सीमा, दुनिया के ऐसे स्थानों में से एक है जहाँ लोग सबसे ज्यादा घूमने जाते हैं. (Photo credit: Wikipedia)

बस इतना चाह है मुझे कि  जीने की वजह बनी रहे
बस इतना चाह है मुझे कि  विश्वास हमेशा टिकी रहे
बस इतना चाह है मुझे कि  वादा हरदम निभा सके
बस इतना चाह है मुझे कि चाहत की पुल बंधी रहे

बस इतना ही चाह है मुझे कि  मन की इच्छा पूरी हो
बस इतना ही चाह है मुझे कि दिल की मुराद पूरी हो
बस इतना ही चाह है मुझे कि कभी किसी को न दुखाएं
बस इतना ही चाह है मुझे कि  जो चाहे वोह कर पाये

बस इतना चाह हो सकता है कि  आज का बीज कल पेड़ बने
बस इतना चाह है मुझे की पलभर कि  शान्ति हमें भी मिले
बस इतना चाह हो सकता है कि  दुनिया में प्यार बनी रहे
बस इतना चाह है मुजेह्य कि  बेमुद्दत ऐसे जस्बाद बनी रहे

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ऐसा क्या है

ऐसा क्या है बारिश में जो मुझे मजबूर कर देता है
ऐसी क्या है  रातों में जो मुझे मेह्फूस कर देता है
पल दो पल मन भटक जाएँ ऐसा क्या है सपनों में

 

العربية: شلالات نياقرا كندا. Azərbaycan: Niaqa...

العربية: شلالات نياقرا كندا. Azərbaycan: Niaqara Şəlaləsi. Español: Cataratas del Niágara, frontera Estados Unidos-Canadá. हिन्दी: नियाग्रा फाल्स (Niagara Falls), संयुक्त राज्य अमेरिका-कनाडा सीमा, दुनिया के ऐसे स्थानों में से एक है जहाँ लोग सबसे ज्यादा घूमने जाते हैं. (Photo credit: Wikipedia)

 
ऐसा क्या है शब्दों में जो जकड कर रख लेता है

ऐसा क्या है प्यार में जो किसी ने इकरार न किया हो
ऐसी क्या मोहब्बत जिसमे टकरार न हुआ  हो
ऐसी भी क्या मजबूरी जो वक़्त खुद थम जाती है
ऐसा क्या है जस्बाद में जो निभाते हुए जम जाती है…

ऐसा क्या है उम्मीद में जो अच्छे से अच्छों के होश उदा देती है
ऐसा क्या है नसीब में जो सारी दुनिया संभालती रहती है
मुठी भर ज़िन्दगी छ फुट ज़मीन के लिए बने हम
ऐसा क्या ज़माना जो यह समझ नहीं पाता है.

 

 

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कुछ इस तरह

English: Flying Fox, also called Zip Line, ove...

English: Flying Fox, also called Zip Line, over valley inside the Mehrangarh Fort at Jodhpur हिन्दी: घाटी को फ्लाइयिंग फॉक्स, या ज़िप लाइन, से पार करती हुई महिला – महरांगर्ह फ़ोर्ट (जोधपुर) के अंदर (Photo credit: Wikipedia)

कुछ इस तरह जीना है मुझे
कि हर सुबह के साथ ख़ुशी हो
और हर शाम के साथ सुकु न
की हर वो कोयल कुहू करती हो
और रहे हममे वो जूनुन

कुछ इस तरह हसना है मुझे
कि हर चहक में सच हो
और रहे दिल में प्यार
कि हर लम्हा गुजरे इस इंतज़ार में
की होगा तकदीर से दीदार

 

 

कुछ इस तरह लिखना है मुझे
कि  दिल की बाट जुबां पर हो
और रहे मन में आशा के पुल

कि हर वोह घडी जब हम हो अकेले
हो जाए हम जज्बादों में मशगुल

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कुछ दिल से

कुछ दिल से]

कुछ दिल से आवाज़ निकल रही है
कुछ इस तरह दिल को छूकर
कुछ मन से तमन्नाएं निकल रही है
अपने आप में खोकर

कुछ आज कर जाने की जुनून है
कुछ इस तरह दिल्लगी बनें
कुछ दिल की बातें में भी क़ानून है
की हम आपसे गुफ्तगू करें

कुछ  बीतें पलों का साथ है
जो रोम रोम में बस गयी
कुछ एक आप् कहो कुछ हमारी बात है
फिर जैसे निकल आई ज़िन्दगी

आज फिर वो दिन आ गया जब जीने की तमन्ना है
आज फिर वो महफ़िल जो बन गयी, आगे मैं पीछे ज़माना है।

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कमबख्त वक्त रुकता नहीं

पर वक्त रुकता नही

कवियत्री रुकमिनी कृष्णन

Childhood A Time to Relax
कया वक्त रुकेगा?

मुझे कोसों काम करने है
लिखना है, चित्रकला करना है
प्रकृति के करीब जाना है
पर वक्त रुकता नहीं

मुझे एक दिन में ४८ घंटे चाहिए
२४ अपने लिए और २४ दुनिया के लिए
हर वो लम्हे को जीना चाहती हूं
पर वक्त कमबख्त रुकता नही

मुझे गाना है नाचना है
समूह में मजे करने है
जिम्मेदारियों के भोज में घिरी हूं
और वक्त है कि रुकता ही नही

कुछ दिन थे वो जब मैं हम से हम मिलती थी
कुछ वो दिन थे जब शब्द और शब्द कों पिरोती थी
क्या वो दिन कभी आयेंगे फिर?
क्या वक्त कुछ पल के लिए रुकेगा फिर?

आज मैं हूं कल नहीं
वक्त वो है जो रहे फिर भी
कुछ ऐसा हो जाए कि हम अपनी मर्जी की करे
कुछ वक्त को मुठ्ठी में कर ले
कुछ अपनी खुदगर्जी करे
और दुनिया को बदल डाले
ख्वाब तो ख्वाब ही रह गए
हम बस लिखते ही रह गए
श्रोताओं जरा मदद करो मेरी
जरा निकालो वक्त की एक फेरी
जिंदगी में हम कभी न हो असहाय
क्या ऐसे समय भी हम देख सकेंगे कभी?
वक्त है जो रुकता नहीं!
चलो बनाते हैं एक नई घड़ी
जिसमे वक्त हमारे लिए रुकेगा ही
ताकि जो हमें छोड़ जाते है वो कभी न जाए
हम जीवन के हर मोड़ को देख सकेंगे निस्सहाय
और मैं रोज के कार्यों में न करूं हाय हाय!!!

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Jab Zindagi ki Dosti Hai Bachpan Se

childhood delights

childhood delights

कुछ बातें अनकही कुछ बातें अनसुनी
खौफ नहीं किसी चीज़ हा, फिर वही नादानी
डूबते कागज़ के नव से मिलती थी जो ख़ुशी
फिर वही बचपन से करनी है दोस्ती

ज़िन्दगी के पटरी में चलती हुई जज़बादों की गाडी
तालाब में तैरती हुई वही कमल की पंखुड़ी
कुछ बात है इनमे चाहती हूँ वही ख़ुशी
फिर वही बचपन से करनी है दोस्ती

Childhood a time to have fun anywhere

Childhood a time to have fun anywhere

आते जाते मुसाफिर जैसे बनते है दोस्त
हर वह मुसीबत से मन होता है दुरुस्त
कुछ अपनी सुनना चाहती हूँ कुछ दूसरों की
फिर वही बचपन से करनी है दोस्ती

आज जो है वह कल नहीं
ज़िन्दगी का हर लम्हा एक खेल सही
गर कोई दिला दे फिर वही बचपन की मस्ती
ज़िन्दगी मेरी बन जाएगी पूरी

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Andhe Desh Ka Raja

Akhil Srivastava

Akhil Srivastava

अखिल श्रीवास्तव स. आई. टी लोनावला के छात्र हैं. आज के नौजवान पीढ़ी के उभरते कवि हैं. उन्हे ऐसे ही लिखित कला के कार्यक्रम में में दिलचस्पी है. इसके आलावा वह गीतकार, संगीतकार व गायक भी हैं. एक बंद में वह कीबोर्ड वादक भी हैं. सातवीं कक्षा से ही उन्हे कविताओं का शौक थ. साहित्यिक अंताक्षरी में कई बार भाग लेकर उन्होने पुरस्कार पाया हैं. इन्ही सब के वजह से आज वह बड़े उत्साह से लिखते हैं, चाहे ख़ुशी हो या गम, आशा हो या आकांशा. आज तक वह १९० कवितायेँ लिख चुके हैं तथा ज़िन्दगी और इसमे रहने वाले लोगों पर, प्यार और विश्वास पर ज्यादा लिखते हैं. आज आईये पढ़ें अखिल द्वारा लिखित ऐसे ही एक कविता. इसके लिए इन्हे पुरस्कार भी मिला है.

अंधे देश का राजा

कोशिशें बारम्बार की पर रह गए हम सिर्फ एक हार
कहीं सूरज की  किरण जलेगी, मानवता का होगा उधार
जीवन में पाया  खोया भी है  अनेक
कहीं लहू की नदी बही
अंधे देश का राजा हुँ एक।

विदावनों की वादी थी जब दुनिया ने कर दिया था हमारा तिरस्कार
तब उबाल रहे थेय हमारे वासी, की कौन लगाएगा हमारी नैया पार.
दीखता सूरज भी मुँह फेर लेता था, उस अँधेरे में थी हमारी लेख
कहीं गलतियां करनी सीखी अंधे देश का राजा हुँ एक।

नहीं मैं किसी आम देश का राजा ऐसे मुल्क की पहचान हुँ
जहां रंग रूप का भेद भाव है, अदृश्य जाती का भगवान हुँ
ऐसे देश की पहचान हुँ जहां अपना ही परया हो गया
देश के इस शर्मनाक कोशिश के कारण जाती  बटवारा हो गया।

मैं हुँ एक बदनसीब देश प्रेमी और भारत है मेरा देश
जिसने अपनी दुनिया खुद बनायीं है, जो कर देता है
अपने ही लोगों का तिरस्कार  और रहता नहीं कोई शेष
क्योंकि वह है एक अँधा देश. !

117863b3-9ba9-4def-a802-98b1a606874fख़ास धन्यवाद पिंकी शर्मा को जिसकी बदौलत आज अखिल का काम आज दुनिया पढ़ सक रही है

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Zindagi mein hosla rehney do

Zindagi mein hosla rehney do

Zindagi mein hosla rehney do

ज़िन्दगी गुलज़ार है यूँ न उसमे लहू  बहाओ
फूलों के  गम को फैलाओ
क़तरा क़तरा की गुंजाईश जब हो ही गयी है
अपने किस्मत को यूँ न बाजार में लुटाओ

कुछ जुस्तजू को समझ कर चलो और न दो पनाह राख को
अपने ही पिरोये यादों के कैद में यूँ न डुबाओ खुद को
क़तरा क़तरा बहती है क़तरा क़तरा बहने दो

ज़िन्दगी को एक नया मोड़ लेने दो
मन्नत हसरतें होती है
पर होसला बरक़रार रहने दो

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